vartika
Saturday, July 16, 2011
रंग और महक
रंग और महक से उभरे जादू
बिखरती फिजा ,
भूला हुआ अफ़साना
आज ---
फिर बुनता है मुझे ---?
याद में है वो दिन भी
जब जिंदगी एक एहसान में
केद थी ----!!!!
1 comment:
suman.renu
July 26, 2011 at 5:08 PM
रंग और महक....बहुत सुंदर मिश्रण है...सर....इसे और भी अभिव्यक्ति दीजिये.....बहुत ही सुंदर है,,,
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रंग और महक....बहुत सुंदर मिश्रण है...सर....इसे और भी अभिव्यक्ति दीजिये.....बहुत ही सुंदर है,,,
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